hindi sex story - किस्से कच्ची उम्र के.....!!!!

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Re: hindi sex story - किस्से कच्ची उम्र के.....!!!!

Unread post by sexy » 17 Sep 2016 11:43

भाग 24
सुमन पूरी तरह से लेट गयी और एक साइड में करवट लेके अपने एक हाथ पे सर टिका दिया।

सुमन:- आखिर तूने मुझे नंगा कर ही दिया ना...

सागर:-मैंने कहा किया??

सुमन:-तूने ही तो किया है...

सागर:- मेरे तो हाथ पाँव बाँध रखे है आपने...बुआ प्लीज खोल दो ना...

सुमन:- ना बाबा ना...मैं नहीं...मैं ये रिस्क नहीं लेना चाहती...

सागर:- क्या बुआ आप भी ना...ठीक है हाथ मत खोलो...लेकिन आपको मैं जो बोलू वो करना पड़ेगा।

सुमन:- क्या?? मैंने पहले ही बहोत कुछ कर दिया है अब मैं कुछ नहीं करुँगी...

सागर:- बुआ बस ये आखरी बार मान लो...

सुमन:- ठीक है...पता नहीं आज तू मुझसे क्या क्या करवाएगा...

सागर:- थोडा सीधा होके लेट जाओ और अपने पैरो को फैला के मुझे आपकी चूत दिखाओ....

सुमन ने सागर ने जैसा कहा वैसा किया। सागर

सुमन की चूत को देखने लगा।

सागर:- वाओ बुआ स्स्स्स्स् लाजवाब चूत है आपकी स्सस्सस्सस...बुआ दोनों हातो से फैलाके अंदर का हिस्सा दिखाओ ना...

सुमन थोड़ी पीछे हुई और थोडा सा बैठ के अपनी चूत को दोनों हाथो से फैलाके सागर को दिखाने लगी।

सुमन:- उम्म्म्म स्स्स्स्स् कैसी लग रही सागर??

सागर:- उफ्फ्फ्फ़ बुआ एकदम मस्त स्स्स्स्स् कितनी गीली हो रही है स्सस्सस्स

सुमन:- अब तू ये सब करवा रहा है तो गीली होना तो लाजमी है...

सागर:- बहोत गरम हो गयी हो आप...आप क्या करती हो ऐसी गरम हो जाती है तो??

सुमन:- क्या करुँगी?? उंगली से रगड़ के अंदर डाल के पानी निकाल लेती हु...

सागर:- तो फिर करो न मेरे सामने स्स्स्स्स्

सुमन:-स्स्स्स्स्स्स्स अह्ह्ह्ह्ह सागर उफ्फ्फ्फ्फ़*

सागर:- क्या हुआ बुआ??


सुमन:- तूने ये बात करके मेरे अंदर की आग बहोत जादा भड़का दी है...

सागर:-उसे ठंडा करने का सामान मेरे पास है बुआ...

सुमन:-स्स्स्स उम्म्म्म नहीं चाहिए अह्ह्ह मैं अपने उंगली से ही कर लुंगी...

सुमन का मन तो हो रहा था चुदने का मगर वो सागर को और तड़पाना चाहती थी। उसे ऐसे बहोत मजा आ रहा था। उसे पता था की सागर के साथ ये उसकी पहली रात है लेकिन आखरी नहीं...जिस तरह से सागर उसके आगे गिड़गिड़ा रहा है आगे वो ऐसा नहीं करेगा...क्यू कि एक बार उसने लंड अपनी चूत में ले लिया तो सागर उसकी कोई बात नहीं मानने वाला...और सुमन इस रात को दोनों के लिये कभी ना भूलने वाली रात बनाना चाहती थी।

सागर:-जैसी आपकी मर्जी...

सुमन ने एक हात से अपने चूची दबाने लगी और दूसरे हाथ से चूत को सहलाने लगी। सुमन सेक्सी आवाजे निकालती हुई सागर को देख रही थी। सागर कभी सुमन की चूत को देखता तो कभी उसके चेहरे को। सुमन अपना निचे का होठ दातो में दबा के बहोत ही सेक्सी अंदाज से सागर को देख रही थी। सुमन को ऐसे देख सागर पागल सा हो गया।

सागर:- स्स्स्स्स् बुआ उफ्फ्फ्फ़ क्या अदा है आपकी ये स्स्स्स्स् उम्म्म्म्म्म अह्ह्ह आपको ऐसे देखके मजा आ गया शह्ह्ह्ह् अह्ह्ह्ह

सुमन:- उम्म्म्म्म्म उफ्फ्फ्फ्फ्फ मजा तो मुझे आ रहा है ऐसे तेरे सामने चूत रगड़ने में अह्ह्ह्ह्ह स्सस्सस्स आअह्हह्हह्हह उम्म्म्म्म्म*

सागर:-स्सस्सस्स बुआ और भी मजा आता आपको अगर ये मुझे करने देती तो स्स्सस्सह्ह्ह्ह्ह्

सुमन:- उम्म्म्म्म अह्ह्ह्ह्ह नहीं उफ्फ्फ्फ्फ़ सागर अह्ह्ह्ह्ह तू मुझे ऐसे देख रहा है इससे मुझे जादा मजा आ रहा है उफ्फ्फ्फ्फ्फ

सागर:- बुआ अह्ह्ह्ह्ह उफ्फ्फ्फ़ उंगली डालो अंदर स्सस्सस्सस उम्म्म्म रगड़ो उस चूत के दाने कोणाह्ह्ह्ह्ह्ह्ह् उफ्फ्फ्फ़

सुमन ने अपनी चूत में एकं उंगली घुसा दी और जोर जोर से उसे अंदर बाहर करने लगी।

सुमन:- सागर अह्ह्ह्ह्ह उम्म्म्म कैसा लग रहा मुझे ऐसे देख के अह्ह्ह्ह्ह*

सागर:-बुआ मैं बता नहीं सकता अह्ह्ह्ह्ह उफ्फ्फ्फ्फ्फ आप सच में कमाल की हो अह्ह्ह्ह्ह्ह

सुमन:- अह्ह्ह्ह सागर उम्म्म्म्म्म अह्ह्ह्ह्ह स्सस्सस्स मेरा होने वाला है स्स्स्स्स्स्स्स उफ्फ्फ्फ्फ़ अह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह् माँ उम्म्म्म्म उफ्फ्फ्फ्फ्फ्फ़

सुमन झड़ चुकीं थी वो आँखे बंद करके उस पल का मजा ले रही थी।[
सागर ने देखा सुमन की चूत जोर जोर से धड़क रही थी। सुमन की उंगली उसके रस से पूरी तरह गीली हो चुकी थी। सुमन जोर जोर से साँसे लेते हुए थोड़ी देर वहीँ लेटी रही।

सागर का हाल अब बहोत ही जादा ख़राब हो चूका था।

सागर:- उफ्फ्फ्फ्फ़ बुआ कितना पानी छोड़ रही आपकी चूत स्सस्सस्सस बुआ थोडा मुझे चखा दो ना....

सुमन:- उम्म्म्म्म क्यू नहीं स्स्स्स्स् अह्ह्ह्ह

सुमन उठी और सागर के पास गयी और अपनी उंगली को चूत के रस में भिगोया और उसे सागर के मुह में डाल दी। सागर सुमन की उंगली चाटने लगा।

सागर:- अह्ह्ह्ह बुआ बहोत टेस्टी है स्सस्सस्स लेकिन ये क्या बुआ पूरा बर्तन भरा पड़ा है रस से और मुझे उंगली से चखा रही हो....

सुमन:-अच्छा?? तो ले अपना मुह बर्तन को ही लगा के पि ले....

सुमन ने एक पाव सागर की जांघ पे रखा और उसका सर पकड़ के अपनी चूत पे उसका मुह रख दिया।



सागर को इसकी बिलकुल भी आशा नहीं थी। वो ख़ुशी से झूम उठा और सुमन की चूत को चाटने लगा। सागर सुमन के झांटो पे लगा रस जुबान से चाट रहा था। सुमन आँखे बंद करके *सागर की जुबान का स्पर्श का मजा ले रही थी। सागर अब उसकी चूत फाको को चूस रहा था। सागर ने सुमन की चूत को चाट चाट पूरा साफ़ कर दिया।

सागर:- अह्ह्ह्ह्ह बुआ स्सस्सस्स सच में बहोत स्वादिस्ट रस है आपकी चूत का उम्म्म्म्म्म

सुमन:-उम्म्म्म्म तू ना बहोत ही चालाक है....मुझे नंगा कर दिया मेरी चूत भी चाट ली लेकिन अपना कुछ भी नहीं दिखाया।

सागर:- तो हाथ खोल दो अभी मैं भी नंगा हो जाता हु।फिर देख लो जो देखना है।

सुमन:- तुम्हारे पास तो सिर्फ ये ही दिखाने के लिये..(सुमन सागर के लैंड पे पाँव रख के उसे सहलाती हुई बोली।) और इसे तो मैं खुद ही देख सकती हु।इसके लिए तेरे हाथ खोलने किंक्या जरुरत है।उम्म्म्म्म देख तो जरा कितना पानी छोड़ रहा है पूरा पैंट गिला कर दिया है।

सागर:- तो देख लो मैंने कब मना किया है।

सुमन निचे बैठ गयी । वो सागर की आँखों में देखते हुए उसके लंड के ऊपर हाथ रखा और ऊपर से निचे तक सहलाने लगी। सुमन सागर के लंड का साइज़ देख के हैरान थी और खुश भी। उसके अपेक्षा से भी बड़ा निकला था सागर का लंड।

सागर:- स्स्स्स्स् बुआ उफ्फ्फ्फ़ बहोत अच्छा लगा रहा अह्ह्ह्ह स्स्स्स

सुमन:- अह्ह्ह्ह उम्म्म और भी अच्छा लगेगा रुक जरा...

सुमन ने पैंट के ऊपर से ही सागर का लंड मुठी में पकड़ा। जहा प्रीकम का दाग था वहा उंगली घुमाई।

सुमन:- स्स्स्स्स् खुशबु तो बहोत अच्छी आ रही है ...जरा देखु तो स्वाद कैसा है...सुमन उस दाग को जुबान से चाटने लगी।...उम्म्म्म बहोत अच्छा है।

सागर:-बुआ और भी अच्छा लगेगा ...बाहर निकाल के सीधा मुह लगाके *चटोगी तो...

सुमन:- अच्छा?? फिर तो ट्राय करना ही पड़ेगा।

सुमन ने सागर का शार्ट और अंडरवियर एक साथ पकड़ के निचे सरकाई । सुमन ने जैसे ही सागर के लंड को बाहर निकलने के लिए जगह दी वो एकदम से उड़ के बाहर आया। सुमन एक पल के लिए डर सी गयी।

उसने देखा सागर का लंबा मोटा लंड झटके मार रहा है। सुमन ने उसे मुठी में पकड़ा। उसने देखा सागर का पूरा लंड भीगा हुआ था। एक घंटे से चल रहा शो देख के सागर का प्रीकम ने पूरा लंड गिला गिला कर दिया था।

सुमन:- उफ्फ्फ्फ्फ़ सागर कितना बड़ा है तेरा लंड स्सस्सस्स उफ्फ्फ्फ्फ्फ लंड इतना मोटा और लंबा भी हो सकता है मैंने कभी सोचा ही नहीं....अह्ह्ह्ह्ह्ह स्स्स्स्स्

सागर:-बुआ उफ्फ्फ्फ् सस्सस्सस्स बहोत देर से तड़प रहा था बाहर आने के लिये अह्ह्ह्ह्ह अब अच्छा लग रहा है।

सुमन ने सागर के लंड को दो तिन बार ऊपर निचे किया।

सुमन:- स्स्स्स्स् अह्ह्ह कितना गरम है अह्ह्ह गिला है फिर भी उफ्फ्फ्फ्फ़

सुमन ने सागर की आखो में देखते हुए उसका लंड निचे से ऊपर तक जुबान से चाटा।

सुमन:-उम्म्म्म सच में बहोत मस्त स्वाद है ।


सागर:- अह्ह्ह्ह्ह बुआ स्स्स्स्स् मुह में ले लो ना अह्ह्ह्ह

सुमन ने सागर के लंड के सुपाड़े को धीरे से अपने मुह में लिया और उसे जुबान से गोल गोल चाटने लगी।

सागर:-स्सस्सस्स बुआ उफ्फ्फ्फ्फ़ बहोत अच्छा लग रहा है स्स्स्स्स्स्स्स

सुमन ऐसेही उसके लंड से खेलती रही।




सागर पहले से बहोत उत्तेजित था। और सुमन लंड को चूसने में महारथ हासिल थी।

सागर:- अह्ह्ह्ह्ह्ह बुआ उफ्फ्फ्फ्फ़ क्या मस्त लंड चूसती हो आप स्स्स्स्स् उफ्फ्फ्फ्फ़

सुमन:-सागर अह्ह्ह्ह्ह बहोत बड़ा लंड है तेरा मेरा मुह दर्द करने लगा है स्सस्सस्सस लेकिन मजा भी बहोत आ रहा है अह्ह्ह्ह्ह्ह

सागर:- बुआ बस थोडा और मेरा पानी निकलने वाला ही है।

सुमन ये सुनके थोडा तेजी से उसको अपने मुह में अंदर बाहर करने लगी।

सागर:- अह्ह्हह्ह्ह्हह्ह बुआ उफ्फ्फ्फ्फ़ हा हा ऐसेही उफ़्फ़्फ़्फ़्फ़्फ़्फ़्फ़्फ़्फ़्फ़्फ़्फ़्फ़्फ़्फ़् अह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह् हो गया हो गया अह्ह्ह्ह्ह्ह्ग्गह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्

सागर सप् सप् अपने वीर्य की पिचकारी उड़ाने लगा सुमन ने सागर के लंड के सुपाड़े को पकका अपने होठो में जकड लिया वो सागर का पूरा वीर्य पि जाना चाहती थी। सागर ने सुमन का पूरा मुह वीर्य से भर दिया। जब सागर का लंड शांत हुआ सुमन ने अपना मुह हटाया। वो सागर की आँखों में बड़ी ही मादकता से देखती हुई पूरा वीर्य पि गयी।

सागर:- उफ्फ्फ्फ़ बुआ आप जैसीं सेक्सी औरत मैंने आजतक नहीं देखि....

सुमन:-स्सस्सस्सस अह्ह्ह्ह्ह कितना पानी छोड़ता है रे तू स्सस्सस्सस उम्म्म्म्म्म मजा आ गया उफ्फ्फ्फ्फ्फ्फ्फ़

सागर:-सच में बुआ मजा आ गया। अब तो मुझे खोल दो।

सुमन ने सागर के हाथ पाँव खोल दिए। सागर उठा और सुमन को गले लगा लिया। सुमन भी उससे चिपक गयी।*

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Re: hindi sex story - किस्से कच्ची उम्र के.....!!!!

Unread post by sexy » 18 Sep 2016 00:39

भाग 25
सुमन और सागर थोड़ी देर ऐसेही एक दूसरे की बाहों में खड़े रहे। फिर सुमन ने उसे छोड़ने को कहा। सागर ने उसे छोड़ दिया। सुमन बेड पे रखे अपने कपडे उठाने लगी।

सागर:- बुआ क्या कर रही हो...

सुमन:- क्या मतलब??कपडे पहन रही हु।

सागर ने उसके कपडे पकड़ लिए।

सागर:- क्यू बुआ??

सुमन:- क्यू मतलब??अरे देख 2.30 बज रहे है...सोना नहीं है क्या??छोड़ जल्दी से...

सागर:-नहीं बुआ...क्या आप मुझे चोदने नही दोगी??

सागर का।ऐसे डायरेक्ट सवाल से सुमन सिहर उठी।

सुमन:-नहीं ...जितना हुआ बस है...

सागर ने उसके हाथ से झटके से कपडे छीने और उसकी तरफ बढ़ के उसे बाहों में ले लिया।सुमन उसे छुड़ने की कोशिस करने लगी। उसे हाथो से धकेलने लगी। सागर ने उसके हाथ पकडे और पीछे की दिवार पे सटा दिया।उसके होठो के पास अपने होठ लेके गया। सुमन अब हिल नहीं रही थी।

सागर:- धीरे से...बुआ चोदने दो ना प्लीज...मुझे पता है बुआ आपको भी चुदने का मन है...

सुमन:-सागर क्या बोल रहा है तू...

सागर:- हा बुआ ...देखो ना मेरा लंड झड़ने के बाद भी खड़ा है...सागर ने सुमन का हाथ पकड़ा और अपने शॉर्ट्स के अंदर डाल दिया।। सुमन ने देखा की सचमुच सागर का लंड अब भी काफी टाइट था।

सुमन:- उम्म्म्म हा रे ये तो सच में अभी भी टाइट है।

सागर:- हा बुआ बस अब वो आपकी चूत चोदके ही शांत होगा...

सुमन:- स्स्स्स्स् सागर उफ्फ्फ तो फिर चोद ना मुझे अह्ह्ह्ह बहोत प्यासी है रे मेरी चूत स्सस्सस्स अह्ह्ह्ह आज मेरी प्यास बुझा दे अपने इस लंबे मोटे लंड से अह्ह्ह्ह

सागर:- स्स्स्स बुआ आप बिलकुल फ़िक्र मत करो बुआ अह्ह्ह्ह ऐसे चोदुंगा आपको की आप हर पल बस इस चुदाई को ही याद करोगी....

सुमन:- सागर अह्ह्ह्ह*

सागर:- बुआ....

सागर ने सुमन की आखो में देखते हुए उसके होठो को अपने होटो में कैद कर लिया और चूसना सुरु कर दिया। सुमन भी उसे किस करने लगी।थोड़ी देर वो ऐसेही किस करते रहे।

सुमन:- आह्ह सागर फालतू में इतने दिन ख़राब किये हमने स्स्स्स मुझे पता होता की तूझे मैं इतनी पसंद हु तो कबका तुझसे चुदवा लेती स्स्स्स

सागर:- कोई बात नही बुआ अब बचे दिनों में सब हिसाब बराबर कर दूंगा स्स्स्स

सुमन:- स्स्स्स हा रे उम्म्म्म्म...सागर चल निकाल कपडे स्स्स्स और सुरु हो जा...

सागर:-स्स्स हाय रे देखो तो जरा कितनी उतावली हो रही है मेरी बुआ चुदवाने के लिए...

सुमन:- क्या करू कई दिनों से लंड नही गया है चूत में स्सस्सस्स

सागर:-उम्म्म्म अभी लो मेरी *बुआ स्स्स्स्स्...पहले जरा अपने इन प्यारे से होठो से चुसके उसे टाइट तो कर दो ना...

सुमन ने सागर का टी शर्ट निकाल दिया। फिर उसे छाती पे किस करती हुई निचे गयी और फिर उसका शॉर्ट्स अंडरवियर के साथ निचे कर दिया। सागर ने उसे पैरो से निकाल के फेक दिया। सुमन ने सागर का लंड पकड़ा और उसे चूसने लगी।

सागर सुमन के बालो में उंगिलिया दाल के सहलाने लगा। सुमन ने दो। मिनट में ही उसका लंड चुसके एकदम रॉड जैसे कड़क कर दिया।

सुमन:-अह्ह्ह्ह्ह्ह्ह स्स्स्स्स् सागर उफ्फ्फ्फ्फ़ तेरा ये लंड आःह्ह्ह*

सागर:-उम्म्म्म बुआ सच में आपके होठो में जादू है स्स्स्स दो मिनट में ही खड़ा कर दिया इसे स्स्स्स

सागर ने सुमन को उठाया और वहा टेबल पे बिठा दिया। उसके पैरो को फैलाया और चूत को देखा।

वो फिर से गीली होने लगी थी।

सागर:-उम्म्म्म बुआ बड़ी रंडी है आपकी चूत स्स्स्स्स् देखो तो उसे चाट के गिला करने की जरुरत ही नही है स्स्स्स्स्

सुमन:-अह्ह्ह्ह्ह्ह सागर स्स्स्स हा रे ...तेरा लंड का जादू चल गया है उसपे स्स्स्स्स्

सागर ने अपना लंड पकड़ा और सुमन के चूत पे रगड़ने लगा। सागर अपना लंड पकड़ के सुमन के चूत के फाको में घुमा रहा था और सुमन के चेहरे को देख रहा था। सुमन अपनी आँखे बंद करके सीसीसीसीसीसी अह्ह्ह करते हुए मजे ले रही थी।

सागर:-कैसा लग रहा है मेरी जान स्स्स्स

सुमन:-बहोत अच्छा आह्ह्ह्ह्ह् क्यू तड़पा रहा है स्स्स्स डाल दे ना अंदर अह्ह्ह्ह्ह*

सागर:-आपने कितना तड़पाया है मुझे ...थोडा खुद भी तड़पने का मजा लो स्स्स्स

सुमन:-अह्ह्ह्ह मैं भी तड़प ही रही थी मेरे राजा अह्ह्ह्ह चोद ना रे जल्दी से अह्ह्ह्ह्ह

सागर भी अब बेताब हो उठा था। उसने सुमन के चूत के छेद पे अपना लंड सटाया और धीरे से थोडा अंदर डाला.... सुमन की चूत बहोत गीली थी सागर का लंड फिसलता हुआ अंदर जा रहा था। सुमन उस तगड़े लंड को अपनी चूत में जाता महसूस कर रही रही। सागर ने धीरे धीरे अपना पूरा लंड अंदर डाल दिया। सुमन को थोडा दर्द हो रहा था। उसकी चूत को सागर के लंड ने फैला सा दिया था।

सुमन:-अह्ह्ह्ह्ह उफ्फ्फ्फ्फ़ कितना फिट बैठ गया रे अह्ह्ह्ह

सागर:-हा बुआ स्स्स्स्स् जैसे आपकी चूत के लिए ही बना है उफ्फ्फ्फ्फ़

सुमन:-स्सस्सस्स कहा रे उफ्फ्फ्फ्फ़ फाड़ दी मेरी चूत स्सस्सस्स तेरे लंड ने अह्ह्ह्ह

सागर:-स्स्स्स्स् कुछ भी क्या बुआ स्स्स्स्स् लंड से कहा फटती है चूत स्स्स्स्स्

सुमन:- अह्ह्ह्ह लेकिन तेरा लंड लंड नहीं खूंटा है अह्ह्ह्ह्ह *उफ्फ्फ्फ्फ़ इतना मोटा और लंबा लंड होता है क्या किसीका??

सागर:- अह्ह्ह्ह्ह उम्म्म्म ऐसा है तो आप तो कुछ चिल्लाई भी नही...

सुमन:-तू बाते ही करेगा क्या अह्ह्ह्ह्ह्ह सुरु कर ना मेरे राजा स्स्स्स्स्

सागर:- उफ्फ्फ्फ़ बुआ जब ऐसे बोलती हो ना एकदम रंडी लगती हो स्स्स्स्स्

सुमन:-अह्ह्ह्ह्ह स्स्स्स्स् उम्म्म्म्म हा रे रंडी ही हु मैं अह्ह्ह्ह्ह्ह तेरी रंडी बुआ अह्ह्ह्ह्ह्ह्ह चोद जल्दी से अह्ह्ह्ह्ह्ह

सागर सुमन की बाते सुन के जोश में आ गया और अपना लंड सुमन की चूत में आगे पीछे करने लगा। पहले तो धीरे धीरे ...फिर उसने अपनी स्पीड बढ़ा दी।

सुमन:- अह्ह्ह्ह्ह्ह्ह स्स्स्स्स् धीरे कर अह्ह्ह्ह्ह उफ्फ्फ्फ्फ्फ्फ़ स्स्स्स्स् जोर से अह्ह्ह्ह्ह उईईईईई माँ मर गयी उफ़्फ़्फ़्फ़्फ़्फ़्फ़्फ़्फ़्फ़्

सुमन को बहोत मजा आ रहा था। सागर का हर धक्का उसे स्वर्ग में पहोचा रहा था। सागर भी सुमन की चुचिया पकड़ के दबाते हुए उसकी चूत चोद रहा था।*

सागर:- अह्ह्ह्ह बुआ उफ्फ्फ्फ्फ्फ आपकी चूत बड़ी मस्त है अह्ह्ह्ह बिलकुल आपके जैसी अह्ह्ह्ह्ह्ह*

सुमन:- अह्ह्ह्ह्ह उम्म्म्म्म्म*

सागर:- अह्ह्ह्ह कैसे जकड रही है मेरे लंड को उफ्फ्फ्फ्फ्फ स्स्स्स्स्*

सुमन:- अह्ह्ह्ह्ह्ह स्सस्सस्स तेरा लंड है ही ऐसा अह्ह्ह्ह्ह

सागर सुमन को अब बहोत स्पीड से चोद रहा था। सुमन कुछ मिनटो में झड़ गयी थी। लेकिन अब सागर के धक्के रुकने वाले नहीं थे। सुमन भी नहीं चाहती थी की वो रुके।*

सुमन:- अह्ह्ह्ह्ह मेरे राजा अह्ह्ह्ह क्या चोदता है रे तू स्सस्सस्सस अः और और अह्ह्ह्ह बोहत बढ़िया अह्ह्ह्ह्ह उम्म्म्म्म्म्म्म ऐसेही उफ्फ्फ्फ्फ्फ अह्ह्ह्ह्ह धीरे अह्ह्ह्ह्ह हाआआआआआआआआआआआ जोर से स्स्स्स्स्स्स्स गग्ग्ग्ग्ग्ग्ग्ग्ग अह्ह्ह्ह्ह्ह*

सागर:- अह्ह्ह्ह्ह बुआ अह्ह्ह्ह्ह्ह स्स्स्स्स्स्स्स उम्म्म्म्म्म

उस पुरे कमरे में दबी हुई आवाज में सिर्फ सिस्कारिया गूंज रही थी।

सुमन ने सागर को एक पल के लिए रोका। वो टेबल के निचे उतरी और पलट के खड़ी हुई।

सागर ने पीछे से उसकी चूत में लंड डाला और फिर वापस से उसे चोदने लगा।सागर ने देखा की सुमन की गांड बहोत ही चिकनी और मांसल है।

सागर:- अह्ह्ह्ह्ह्ह बुआ उफ्फ्फ्फ्फ्फ कितनी मस्त है आपकी गांड अह्ह्ह्ह्ह स्सस्सस्स*

सुमन:-स्सस्सस्स उम्म्म्म्म हा मुझे पता है तुझे मेरी गांड बहोत पसंद है स्सस्सस्स

सागर:- स्स्स्स कैसे पता है बुआ??

सुमन:- अह्ह्ह्ह मैंने देखा है तुझे मेरी गांड को देखते हुए अह्ह्ह्ह्ह

सागर:- उम्म्म्म्म स्स्स्स्स् हा क्या?? बुआ एक बात और बोलू अह्ह्ह्ह आपके गांड का छेद भी बहोत अच्छा है स्सस्सस्स

सुमन:-अह्ह्ह्ह मेरी गांड मारने का इरादा है क्या स्स्स्स्स्स्स्स

सागर:-हा बुआ अह्ह्ह्ह्ह उम्म्म्म्म्म

सुमन:- अह्ह्ह्ह्ह स्सस्सस्स पहले मेरी चूत को ठंडा कर अह्ह्ह्ह्ह फिर गांड चोदना स्स्स्स्स्स्स्स

सागर:- स्सस्सस्स उम्म्म्म्म्म ठीक है बुआ....

सागर ने ये सोचा की जोर जोर से चोद के बुआ की चूत के बारां बजा दूंगा और फिर गांड मारूँगा।सागर सुमन की कमर पकड़ के बहोत ही स्पीड से सुमन को चोद रहा था। सुमन सागर के लंड के घर्षण से पागल सी हो गयी थी। वो भी अपनी गांड पीछे करके उसका पूरा साथ दे रही थी। वो एक बार और झड़ गयी थी।

सुमन:- अह्ह्ह्ह्ह सागर उफ्फ्फ्फ्फ्फ आज तक मेरी चुदाई ऐसी कभी नहीं हुई रे अह्ह्ह्ह्ह्ह स्स्स्स्स्स्स्स बड़ा मस्त चोदता है तू स्स्सस्सस्सस्सस्स

सागर:- अह्ह्ह्ह्ह बुआ उफ्फ्फ्फ्फ्फ्फ़ मैंने भी आजतक आपके जैसी चुद्दकड़ रंडी नहीं चोदी अह्ह्ह्ह्ह्ह उफ्फ्फ्फ्फ्फ्फ़

सुमन:- अह्ह्ह्ह्ह्ह स्स्स्स्स्स्स्स उम्म्म्म्म्म अह्ह्ह्ह्ह मैं तीसरी बार झड़ी हु आज अह्ह्ह्ह्ह अब बस कर अह्ह्ह्ह्ह पिछले 25 मिनट से चूत चोद रहा है अह्ह्ह्ह्ह्ह स्सस्सस्स छिल गयी है मेरी चूत अह्ह्हह्ह्ह्हह्ह

सागर:-अह्ह्ह्ह बुआ बस 10 *मिनट और मेरा भी हो जायेगा अह्ह्ह्ह्ह

सुमन:- अह्ह्ह्ह्ह सागर स्स्स्स्स् मुह से कगुस के कर देती हु अह्ह्ह्ह्ह

सागर:- अह्ह्ह्ह बुआ गांड में डालू क्या अह्ह्ह्ह्ह्ह

सुमन:- अह्ह्ह्ह्ह्ह स्स्स्स्स् ठीक है अह्ह्ह्ह वैसे मैंने भी बहोत। दिनों से गांड नहीं चुदवाई अह्ह्ह्ह्ह्ह

सागर की तो जैसे मुराद पूरी गयी थी। उसने सुमन के गांड का छेद को अपने थूक से बहोत गिला किया। अपने लंड को भी गिला किया और। धीरे धीरे सुमन की गांड में डालने लगा। सुमन दर्द के मारे चिल्लाने लगी।

सुमन:- अह्ह्ह्ह्ह सागर नहीं उफ्फ्फ्फ्फ्फ निकाल अह्ह्ह्ह बहोत दर्द हो रहा है स्सस्सस्सस*

सागर:- बस बुआ अह्ह्ह्ह्ह थोडा सा और अह्ह्ह्ह्ह्ह्ह*

सागर ने धीरे धीरे पूरा लंड सुमन की गांड में घुसा दिया। और थोड़ी देर ऐसेही खड़ा रहा।

सागर:- अह्ह्ह्ह्ह बुआ कितना मस्त लगता है गांड में अह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह स्सस्सस्स

सुमन:- अह्ह्ह्ह्ह मेरी जान निकली जा रही है और तुझे मजा आ रहा है उफ्फ्फ्फ्फ्फ्फ़

सागर:- धीरे धीरे अपना लंड आगे पीछे करते हुए...बस बुआ अब कम हो जाएगा। फिर आपको भी गांड मराने में मजा आने लगेगा अह्ह्ह्ह्ह

सुमन:- अह्ह्ह्ह्ह हा मुझे पता है स्सस्सस्स लेकिन अह्ह्ह्ह अभी तो बोहोत दर्द हो रहा है स्सस्सस्स

सागर सुमन की कसी हुई गांड का मजा ले रहा था। धीरे धीरे लंड अंदर बाहर कर रहा था। उसके लंड से निकलता प्रीकम सुमन की गांड को गिला कर रहा था। जैसे जैसे सुमन की गांड गीली होती गयी उसका दर्द कम होता गया। सागर का लंड अब आराम से अंदर बाहर हो रहा था।

सुमन:- अह्ह्ह्ह्ह सागर उम्म्म्म्म अब ठीक लग रहा है स्सस्सस्स

सागर:- उम्म्म्म हा बुआ अब मेरा लंड आराम से अंदर बाहर हो रहा है स्सस्सस्सस

सुमन:- अह्ह्ह्ह्ह उम्म्म्म्म्म स्स्स्स्स्स्स्स अह्ह्ह्ह्ह तू तो हर चीज में एक्सपर्ट है रे अह्ह्ह्ह

सागर:- अह्ह्ह्ह्ह स्सस्सस्स नहीं बुआ गांड पहली बार चोद रहा हु अह्ह्ह्ह्ह

सुमन:- हा क्या??मतलब अब तक चूत बहोत चोदी है तूने...हा?

सागर:- स्सस्सस्सस हा बुआ दो तिन चोदी है स्सस्सस्स

सुमन:- किसकी??

सागर:- बाद में बताता हु स्स्स्स्स्स्स्स अभी तो आपकी गांड मारने दो अह्ह्ह्ह्ह्ह्ह

सुमन:- अह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह स्स्सस्सस्सस्सस्स चोद ना अह्ह्ह्ह्ह्ह्ह बहोत मजा आ रहा है स्सस्सस्स*

सागर को भी यही चाहिए था। वो अब। थोडा स्पीड से चोद रहा था।

सुमन:-उम्म्म्म्म्म आआआआआआ उई माँ मर गयी रे अह्ह्ह्ह्ह्ह्ह स्सस्सस्सस कितना मस्त चोदता है रे तू अह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह ऐसेही उफ्फ्फ्फ़ अह्ह्ह्ह अह्ह्ह अह्ह्ह मजा आ रहा है उम्म्म्म्म्म्म्म

सागर:-अह्ह्ह्ह्ह्ह स्सस्सस्स बुआ स्सस्सस्स उफ्फ्फ्फ्फ़

सागर अब झड़ने वाला था वो बहोत तेज तेज झटके मारने लगा था।*

सुमन:-धीरे कर रे अह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह स्सस्सस्सस उफ्फ्फ्फ्फ्फ कितनी जोर से चोद रहा है अह्ह्ह्ह्ह्ह्ह उफ्फ्फ्फ्फ्फ्फ़

सागर:- अह्ह्ह्ह्ह्ह्ह बुआ उम्म्म्म्म मेरा पानी निकलने वाला है अह्ह्ह्ह्ह्ह

सुमन:-स्सस्सस्सस हा निकाल दे पानी मेरी गांड में स्स्स्स्स्स्स्स उफ्फ्फ्फ्फ्फ भर दे मेरी गांड अपने वीर्य से अह्ह्ह्ह्ह्ह्ह उफ्फ्फ्फ्फ़

सागर:- आआआआआआ बुआ उम्मम्मम्मम्मम्मम्मम्मम्मम्म*

सागर ने आखरी झटका मारा और अपना लंड सुमन की गांड में दबा के अपना वीर्य छोड़ने लगा।सागर ने सुमन की गांड अपने वीर्य से भर दी।वीर्य सुमन की गांड से निकल के उसकी चूत की तरफ बहने लगा।

सुमन:- अह्ह्ह्ह्ह्ह कितना वीर्य निकालता है रे तू अह्ह्ह्ह्ह मेरी पूरी गांड भर दी तूने स्सस्सस्सस



**जब उसका वीर्य निकलना बंद हुआ वो बेड पे जाके लेट गया। सुमन भी उसके बाजू में लेट गयी। दोनों भी इस दमदार चुदाई से तृप्त हो चुके थे। उन्हें स्वर्ग। की अनुभूति हो रही थी।

जब *दोनों नार्मल हुए सुमन उठी और सागर की छाती पे अपना सर रखा।

सुमन:-सागर उफ्फ्फ्फ़ आजतक ऐसा मजा नहीं आया रे अह्ह्ह्ह्ह

सागर:- हा बुआ मुझे भी ...लेकिन अभी तो शुरवात हुई है बुआ...

सुमन:-हा अब जितने दिन यहाँ है रोज मेरी चुदाई करना*

सागर:- हा बुआ...और कभी कभी शहर से भी आऊंगा ...

सुमन:-उम्म्म्म हा वो तो तुझे आना ही पड़ेगा।

सागर ने सुमन को अपने बाहों। में लिया और एक लंबा किस किया।

सागर:-बुआ एक बार और हो जाय??

सुमन:- नहीं ...बिलकुल नहीं...जान लेगा क्या मेरी??और टाइम भी देख कितना हो गया है...अब रात तक इन्तजार कर...

सागर:- ठीक है बुआ...

सुमन और सागर उठ के अपने कपडे पहने। सुमन ने उसे फिर से किस किया और वो अपने कमरे में चली गयी।

सागर भी अपने बेड पे लेट के नींद की आगोश में समां गया।

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Re: hindi sex story - किस्से कच्ची उम्र के.....!!!!

Unread post by sexy » 18 Sep 2016 00:41

भाग 27
4 5 दिन सागर ने सुमन की खूब चुदाई की। सुमन ने भी अपने सारे छेद सागर के लंड से खूब चुदवाये।सागर ने सुमन को इस कदर संतृष्ट कर दिया था की वो अगले दो महीने तक लंड ना मिले तो भी उसे कोई फरक नहीं पड़ने वाला था।


छुट्टियां खत्म हो चुकी थी। अब प्रभा और सागर को वापस शहर जाना था। प्रभा ने सागर से जो वादा किया था की वो प्रियंका को अपने साथ शहर ले जाने का वो प्रभा ने पूरा किया था।

प्रभा और सागर पहले ही बाइक से निकल गये और प्रियंका और माधवी उनकी स्कूल खत्म कर के शाम को बस से आने वाले थे। प्रभा ने बड़ी चालाकी से प्लान किया था। वो पहले पहोच के सागर से चुदवाना चाहती थी।*

जैसे ही वो घर पहोंचे प्रभा सीधा सागर को कमरे में ले गयी और बीना कपडे उतारे अपनी साड़ी ऊपर करके पैर फैला के लेट गयी।

प्रभा:-सागर आ जा रे जल्दी से ठोक दे मेरी चूत स्सस्सस्सस 20 दिन से तड़प रही है तेरे लंड के लिए।

सागर ने भी अपना लंड निकाला और प्रभा की चूत में पेल दिया और खच खच चोदना सुरु कर दिया।

सागर:-उम्म्म्म अह्ह्ह्ह मैं भी तो तड़प रहा हु स्सस्सस्स

प्रभा :-स्सस्सस्सस अह्ह्ह्ह्ह्ह अब शांति मिली है उफ्फ्फ्फ्फ्फ्फ्फ़ चोद जोर से अह्ह्ह्ह्ह्ह और हा स्सस्सस्स

सागर प्रभा को जोर जोर से चोदता रहा। प्रभा भी अपनी गांड उचका उचका के सागर से चुदती रही। जब सागर ने अपना पानी प्रभा की चूत में छोड़ा तबतक वो दो बार झड़ चुकी थी। जब दोनों शांत हुए तब प्रभा उठी और घर की साफ़ सफाई सुरु की। सागर भी अपना कुछ काम करने लगा ।

जब दोनों के काम खत्म हुए तब फिरसे दोनों चुदाई करने लगे। सागर प्रभा की गांड चोदना चाहता था मगर प्रभा ने उसे मना कर दिया क्यू की वो पहले अपनी चूत ठंडी करना चाहती थी।

शाम को माधवी और प्रियंका पहोच गए। चारो उस रात बाहर खाना खाने गए। और फिर सब देर रात तक साथ बैठ के बाते करते रहे। सागर ने दोपहर में ही प्रभा की खूब चुदाई की थी इसलिए वो थोडा थक गया था। उसने प्रियंका को दूसरे दिन के प्लान के बारे में बता दिया था सो प्रियंका को भीं पता था की आज रात कुछ नहीं करना। प्रभा और माधवी भी दूसरे दिन के प्लॅनके बारे में जानती थी। मगर उन तीनो को आपस में नहीं पता था की दूसरा जनता है और कोई जाहिर भी नहींकर रहा था।


दूसरे दिन सुबह सागर ने अपने प्लान पे काम करना चालु किया। सागर बाहर जाके तिन मूवी टिकिट ले आया और प्रभा कोंडे दिया और खुद कॉलेज जा रहा हु बोलकर चला गया। मूवी शो 12 का था। प्लान के मुताबिक़ प्रियंका ने तब्येत ख़राब होने का बहाना किया। दिखावे के लिए माधवी ने मूवी का प्लान कैंसिल करने को कहा लेकिन प्रियंका ने जोर देके प्रभा और माधवी को जाने को कहा। प्रभा को तो पता ही था ...फिर प्रभा और माधवी मूवी के लिए निकल गए। माधवी के दिमाग में सिर्फ ये बात चल रही थी की आज प्रियंका और सागर क्या क्या करेंगे कैसे करेंगे...प्रियंका कैसे चुदवायेगी आज सागर से। ये सोच के उसे भी उत्तेजना महसूस हो रही थी।

उसकी चूत में हलचल सी होने लगी थी। माधवी ऑटो में बैठी बार बार टाइम देख रही थी और सोच रही थी की अब क्या हो रहा होगा......

प्रभा माधवी को इतना बेचैन देख तो उसका कारण पूछा मगर माधवी ने कुछ नहीं बोल के टाल दिया। लेकिन उसके तन मन में खलबली सी मची हुई थी। एक तो उसने पहले भी सागर और प्रियंका को साथ देखा था। ऊपर से प्रियंका उसे सागर के साथ फ़ोन पे हुई बाते बताती रहती थी और अब तो वो भी सेक्स में बहोत दिलचस्पी लेने लगी थी।


प्रभा और माधवी सिनेमा हॉल में पहोंचे। वहा कुछ खास *भीड़ नहीं * थी। मूवी सुरु होने में अभी थोडा वक़्त था। वो वहा अपने लिए खाने और पिने का सामान ले रहे थे। माधवी ने गुलाबी रंग का सलवार सूट पहना था। उसमे वो बहोत ही कमाल की लग रही थी। वहा जितने भी लोग थे सभी माधवी को ही देखे जा रहे थे। एक तो शहर में आजकल लगभग सभी लडकिया जीन्स ही पहनती है । इसलिए माधवी को ऐसे पारंपरिक लिबास में देख सभी का मन उसकी और आकर्षित हो रहा था।*

Pलपप्रभा और माधवी अंदर जाके बैठ गए। *माधवी के बाजु वाली सीट पे कोई नहीं था क्यू की उसकी टिकिट तो उनके पास ही थी। प्रभा की बाजू में एक जवान लड़का बैठा हुआ था जो की अपनी गर्लफ्रेंड के साथ आया था। मूवी सुरु हो चुकी थी। सभी लोग मूवी देखने लगे। प्रभा के बाजू वाला लड़का अँधेरे का फायदा उठा रहा था। वो अपनी gf का हाथ पकड़ रहा था उसे किस कर रहा था उसकी चुचिया भी दबाना सुरु कर दिया था। वो सब सावधानी से कर रहा था मगर प्रभा को कुछ टाइम के बाद मालुम पड़ ही गया। प्रभा का ध्यान अब मूवी से हटके उन दोनों पे था। कुछ देर ऐसेही चलता रहा। माधवी के बाजू में एक सीट छोड़ के एक 45 *48 साल का एक आदमी बैठा था। वो माधवी को तब से देखे जा रहा था जब वो बाहर थी। और अब वो उसके बाजू में एक सीट छोड़ के बैठी थी। वो मूवी कम और माधवी को जादा देख रहा था। अँधेरा होने के बावजूद भी वो माधवी और उसके अंगो को देखने की कोशिस कर रहा था। लेकिन माधवी तो कुछ और ही सोच रही थी। माधवी परदे पे मूवी नहीं सागर और प्रियंका की चुदाई *देख रही थी। वो सिर्फ और सिर्फ उनके बारे में सोच रही थी और वो कल्पना को परदे पे देख रही थी। वास्तव में जो मूवी चल रही थी उसका उसे बिलकुल भी ध्यान नहीं था। वो जैसे जैसे कल्पना में सागर और प्रियंका की चुदाई देखते जा रही थी वैसे वैसे वो उत्तेजित हो रही थी।*

इनसब बातो में इंटरवल कब हुआ उसे पता ही नहीं चला। इंटरवल के बाद वो आदमी उठ के माधवी के पास आया और वहा उसके बाजू में बैठने की इजाजत मांगने लगा। उसने कहा की वो सीट थोड़ी ख़राब है। प्रभा ने देखा की वो आदमी शक्ल से शरीफ लग रहा था और बुड्ढा सा था। प्रभा ने सोचा की इतने शिष्टाचार से इजाजत मांग रहा है तो उसने भी मना नहीं किया। लेकिन वो आदमी बहोत बड़ा ठरकी था। पहले दिखावे के लिए शराफत दिखा रहा था। जैसे ही लाइट बंद हुई उसने अपनी हरकते सुरु कर दी। माधवी ने अपना हाथ बिच वाली रोड पे रखा था। उस आदमी ने पहले अपनी कोहनी माधवी के हाथ से टच की। माधवी को लगा की शायद गलती से हुआ होगा।उसने ध्यान नहीं दिया। लेकिन थोड़ी ही देर में और 2 3 बार छुवा तो माधवी को शक हुआ उसने उस आदमी की तरफ देखा वो आदमी उसकी तरफ ही देख रहा था। वो माधवी की और देख के मुस्कुराया और उसने माधवी को आँख मारी। माधवी का दिल उसकी ये हरकत देख जोर से धड़का। उसने अपना हाथ हटा लिया और मूवी देखने की कोशिस करने लगी। उस आदमी को लगा की शायद ये पंछी फसने वाला नहीं तो उसने आगे कुछ नहीं किया। लेकिन माधवी के दिमाग में अब उथल पुथल मचनी सुरु हो गयी थी।

वो उसकी अगली हरकत का इन्तजार कर रही थी। ऐसेही 10 मिनट चले गए।लेकिन एक ठरकी इंसान कब तक चुप रहेगा। वो वापस से अपनी कोहनी को थोडा पीछे सरका के माधवी की बाह से एक दो बार टच किया। माधवी पहले ही बहोत ऊटेजित थी ऊपर से ये उसके लिए पहली बार था की कोई आदमी उसके साथ ऐसी हरकत कर रहा है। वो उस आदमी के ऐसे छूने से और भी उत्तेजित होने लगी थी। उसने फिर से तिरछी निगाहो से उस आदमी की और देखा वो भी माधवी को ही देख रहा था। माधवी की दिल की धड़कने बहोत तेज होने लगी थी। वो आदमी ने अब अपनी कोहनी माधवी के बाह से टच करवाई और वही रहने दी और माधवी के रिएक्शन का इन्तजार करने लगा। माधवी असमंजस में थी क्या करे...उसने कोई हलचल नहीं की। इससे उस आदमी की हिम्मत बढ़ गयी। वो *अपनी कोहनी माधवी की बाह से रगड़ने लगा और धीरे धीरे माधवी की चुचियो की तरफ ले जाने लगा। माधवी को अब उसकी ऐसी हरकतों से मजा आने लगा था। वो चुपचाप बैठ के मजे ले रही थी। वो प्रभा को भी देख रही थी लेकिन प्रभा का ध्यान मूवी में और बाजू वाले लड़के की तरफ था। इधर उस आदमी ने अपनी कोहनी अब माधवी की चूची को टच करवा दिया था और धीरे से कोहनी का दबाव चूची पे डालने लगा।


माधवी को तो जैसे एक झटका सा लगा....पहली बार कोई आदमी उसकी चुचियो को छु रहा था। उसके शरीर में करंट सा दौड़ने लगा था। उसकी चूत में भी हलचल होने लगी थी। उसने उस आदमी की और देखा वो स्माइल करते हुए *माधवी कोंदेख रहा था और अपना लंड सहला रहा था। माधवी ये देख सिहर उठी। माधवी बार बार तिरछी निगाहो से उसके लंड किनौर देखने लगी। ये बात उस आदमी के समझ में आ गयी थी। उसने अपनी अपना हाथ आगे किया और फिर अपनी कोहनी सीधा माधवी के स्तन पे सामने से चिपका दी और दबाव डालने लगा।माधवी अब पूरी तराह से अपने होश खो चुकी थी। उसका ये किसी आदमी के साथ पहली बार था। उसे डर भी बहोत लग रहा था मगर मजा भी आ रहा था। उसने अपनी चुन्नी ठीक करने के बहाने से ऊपर उठायी और उस आदमी के हाथ के ऊपर डाल दी और थोडा उसकी तरफ खिसक गयी। वो आदमी माधवी की ये हरकत देख बहोत खुश हुआ। उसे समझ आ गया की ये लड़की को मजा आ रहा है। उसने अपना फ़ोन निकाला और उसपे एक msg लिखा ""बाहर टॉयलेट में जाओ मजे करेंगे""

और माधवी को धक्का दिया और मोबाइल दिखाया। माधवी ने वो msg पढ़ा और गर्दन को ना में हिला के मना कर दिया। उस आदमी ने सोचा चलो इसको और गरम करते है ताकि ये तैयार हो जाय। वो अपनी कोहनी से धीरे धीरे माधवी की चूची दबाने लगा। माधवी के दुपट्टे की वजह से वहा क्या हो रहा है ये दिखाई नहीं दे रहा था। फिर उसने अपना हाथ बिच वाले रोड से निचे माधवी के साइड में गिरा दिया। वो सीधा माधवी की जांघो पे जा गिरा।


माधवी उत्तेजना में बहती ही जा राहींथी। उसने अपने दुपट्टे से उसका हाथ ढक लिया। वो माधवी के जांघो को सहलाने लगा दबाने लगा। माधवी को बहोत मजा आ रहा था। उस आदमी ने माधवी का कुर्ता बाजू में किया और अपना हाथ उसकी चूत की तरफ बढ़ाने लगा। माधवी का दिल अब किसी ट्रेन के इंजिन किंतरह दौड़ रहा था। उसकी चूत बहोत गीली हो चुकी थी। उससे ये सब सहन नहीं हों रहा था। उसने उस आदमी का हाथ अपनी चूत के पास पकड़ लिया। उस आदमी ने छुड़ाने की कोशिस की लेकिन माधवी ने मना कर दिया। वो आदमी माधवी का हाथ अपने हाथो में लिए उसे सहलाने लगा। माधवी अब्ब थोडा रिलैक्स हो गयी थी। थोड़ी देर बाद उस आदमी ने माधवी हाथ पकड़ा और अपने लंड की और ले जाके अपने लंड पे रख दिया। जैसेही माधवी का हाथ उसके लंड से छुआ माधवी ने झटके से अपना हाथ पीछे खीच लिया। माधवी को ये सब बोहोत अच्छा लग रहा था मगर अंदर से वो बहोत डर रही थी। उसने प्रभा की और देखा प्रभा मूवी देखने खो चुकी थी। उसका ध्यान बिलकुल भी माधवी की तरफ नहीं था। माधवी का हाथ अब भी उस आदमी के हाथ में था वो उसे सहला रहा था। उसने अपना दूसरा हाथ अपनी काख में से क्रॉस करते हुए मधविबके दुप्पटे के निचे से ले जा के सीधा उसकी चूची पे रख दिया और उसे दबाने लगा।


माधवी उसकी इस हरकत से आह्ह कर उठी। उसकी अनछुई चुचियो पे उस आदमी का हाथ पड़ते ही वो सातवे आसमान में पहोच गयी। वो आदमी भी माधवी जैसी कच्ची कलि की कड़क और विकसित होती चुचियो को मसल के मजे ले रहा था। उसने देखा की माधवी मजे से अपनी चूची मसलवा रही है तो उसने दुबारा माधवी का हाथ अपने लंड पे रख दिया।


इस बार माधवी ने अपना हाथ नहीं हटाया या हटा ही नहीं पायी। उसका हाथ किसी चुम्बक की तरह उसके लंड से चिपक सा गया। माधवी अपना हाथ बिना हिलाये उस आदमी के लंड का जायजा ले रही थी।वो आदमी अपना लंड बार बार उचका के उसे इशारे दे रहा था। मगर माधवी किसी पुतले की तरह स्तब्ध थी। उसे यकीं नहीं हो रहा था की वो किसी अनजान आदमी का लंड को छु रही है। उस आदमी ने अपना हाथ माधवी की चूची से हटा लिया था। लेकिन उसके पहले उसने खूब मसला था माधवी की चुचिया। माधवी उसके ऐसे मसलने से बहोत उत्तेजित हो चुकी थी। उसकी चूत पानी छोड़ छोड़ के परेशान हो चुकी थी। उसकी पूरी पॅंटी भीग चुकी थी।

उस आदमी ने माधवी के हाथ को पकड़ा और अपना लंड के इर्द गिर्द उसका हाथ लपेटा और 4 5 ऊपर निचे मुठ मारने जैसा किया और छोड़ दिया। माधवी भी अब जोश में आ गयी थी। वो उस आदमी के लंड को पकड़ के दबाने लगी। वो आदमी माधवी के कोमल हाथो का स्पर्श से रोमांचित हो उठा।वो *आराम से बैठ गया और अपना हाथ वापस से माधवी की जांघो पे रख दिया। और धीरे धीरे कुर्ते के निचे से माधवी की चूत की तरफ बढ़ाने लगा और माधवी के चूत को छूने की कोशिस करने लगा। लेकिन उसका हाथ ठीक से पहोच नहीं पा रहा था।

माधवी अब खुद चाहती थी की अब वो आदमी उसकी चूत को सहलाये। वो थोडा आगे हुई और अपने पैर फैला दिए। ये देख के वो आदमी बहोत खुश हुआ। उसने अपना हाथ माधवी की चूत पे रखा और सहलाने लगा। माधवी उसके छूने से पागल सी हो उठी।उसने कई बार अपनी चूत को छुवा था मगर जो मजा आज उस आदमी के छूने से उसे आ रहा था वो कभी नही आया था। जिंदगी में पहली बार कोई आदमी उसकी चूत को सहला रहा था।


वो उसके लंड को जोर से मुठी में पकड़ने लगी।


उस आदमी दे देखा की माधवी की चूत से निकल रहा पानी की वजह से उसकी सलवार भी गीली हो चुकी थी। उसने कोशिस करके माधवी के चूत के दाने को खोज निकाला और उसे सहलाने लगा। माधवी उसकी इस हरकत से बेहद पागल हो गयी। उसकी आँखे उत्तेजना से बंद सी होने लगी। उसके मुह से सिस्कारिया निकलने को बेताब हो उठी थी। उसने अपनी दूसरे हाथ की उंगली दातो में दबा ली और अपनी सिस्कारिया दबाने लगी।

उस आदमी ने वापस से उसे वही msg दिखाया। माधवी का मन तो बहोत कर रहा था मगर डर के मारे उसने फिर से मना कर दिया। उस आदमी ने भी सोचा की अब मूवी कुछ ही देर में खत्म हो जायेगी इससे अच्छा की यही बैठे बैठे मजे कर लेते है।

उसने अपनी पैंट की झिप खोली और माधवी का हाथ झिप से अंदर डाल दिया। माधवी अब इतनी जोश में थी की उसने खुद से उसकी अंडरवियर के अंदर अपना हाथ डाला और उसका लंड पकड़ लिया।*


माधवी:-(मन ही मन) अह्ह्ह्ह्ह्ह स्स्स्स्स् उफ्फ्फ्फ्फ्फ कितना अच्छा लग रहा है उफ्फ्फ्फ्फ्फ्फ़ स्स्स्स्स्स्स्स कितना गरम है ये लंड अह्ह्ह्ह्ह्ह काश की यहाँ कोई नहीं होता तो इसका लंड देख तो लेती उम्म्म्म्म कितना कड़क है ये स्सस्सस्सस सच में मोबाइल पे कितना भी देख लो रियल का अपना ही मजा होता है स्सस्सस्सस उम्म्म्म्म्म

माधवी उस आदमी के लंड कों पकड़ के मस्त उसकी मुठ मारने लगी थी। वो आदमी माधवी के नाजुक कोमल हाथो स्पर्श से बहोत जादा उत्तेजित हो चूका था। माधवी का हाल भी उससे कुछ अलग नहीं था। वो आदमी लगातार माधवी की चूत सहला रहा था। माधवी अब अपने मंजिल के बहोत करीब थी। वो अपनी चूत थोडा आगे आगे कर रही थी और उस आदमी की मुठ मार रही थी। माधवी ने अपनी आँखे बंद कर ली थी। वो आदमी बहोत तेजी से अपनी उंगली माधवी के चूत के दाने से रगड़ रहा था। आखिर वो पल आ ही गया। माधवी ने उसका हाथ पकड़ लिया और वो झड़ने लगी। कमाल का था वो आदमी उसने सिनेमा हॉल में माधवी कपड़ो के ऊपर से ही झड़ने को मजबूर कर दिया था। माधवी भी अब उसकी मुठ मार रही थी कुछ ही पल में माधवी ने भी उस आदमी का पानी निकाल दिया।


दोनों नार्मल हुए और ठीक से अपनि जगह बैठ गए।

उस आदमी ने msg लिखा और माधवी को दिखाया। उसमे उसने माधवी का फ़ोन नो माँगा था। माधवी ने उसे msg में उसका no माँगा। उसने दे दिया। माधवी ने वो अपने मोबाइल में सेव कर लिया।उस आदमी ने एक और msg लिखा और माधवी को दिखाया "तुम बहोत सेक्सी हो काश मैं तुम्हे अभी चोद सकता...मुझे फ़ोन करना मैं तुम्हे चोदना चाहता हु...बहोत मस्त चुदाई करूँगा एक बार चुदवा के देखो...बार बार चुदने को बेताब हो जाओगी।"

माधवी ने वो msg पढ़ा और उस आदमी तरफ देख के स्माइल कर दी। उस आदमी को लगा की ये लड़की जरूर फ़ोन करेगी और उससे चुदवायेगी।


मूवी अब खत्म होने में ही थी। माधवी मूवी देखने लगी। मूवी खत्म होने के बाद माधवी और प्रभा जाने लगे वो आदमी उनके पीछे ही था। माधवी ने उसे इशारे से जाने को कहा और फ़ोन करती हु कहा। वो चला गया।

इस वाकिये के बाद माधवी के दिल।दिमाग और चूत में खलबली सी मच गयी थी। और खलबली अब क्या क्या नए रंग दिखने वाली थी ये तो वक़्त ही बताएगा..............

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